टी20 फॉर्मेट के आने से क्रिकेट की रफ्तार काफी तेज हो गई है. बल्लेबाज पहले से कई गुना आक्रामक हो गए हैं। केवल टी20 फॉर्मेट में ही नहीं बल्कि अब खिलाड़ी टेस्ट में भी तेजी से रन बनाना पसंद करते हैं। ऐसे वक्त में भारतीय क्रिकेट टीम के दिग्गज खिलाड़ी राहुल द्रविड़ का मानना है कि यदि वह आज के दौर में खेलते तो वह मैदान पर टिक ही नहीं पाते।
भारत के लिए टेस्ट क्रिकेट में रन बनाने के मामले में नंबर-2 पर काबिज राहुल द्रविड़ अपने क्रिकेट के दिनों में संभली हुई पारी खेला करते थे। उनकी बल्लेबाजी में आक्रामकता कम ही देखने को मिलती थी। बावजूद इसके वह टीम के लिए निरंतर मैदान पर डटे रहते थे, इसलिए उन्हें विश्व क्रिकेट में द वॉल के नाम से पहचाना जाता था। अब राहुल द्रविड़ ने क्रिकेट वेबसाइट क्रिकइंफो के पर संजय मांजरेकर से बात करते हुए कहा,
‘‘मैं जिस तरह की बल्लेबाजी करता था, वही आज के दौर में करता तो टिक नहीं पाता। आज के खिलाड़ियों के स्ट्राइक रेट देखिए। वनडे में मेरा स्ट्राइक रेट सचिन तेंदुलकर या वीरू (सहवाग) से भी ज्यादा नहीं था। लेकिन यह वह स्ट्राइक रेट था, जो हमने उस दौर में खेला था।’’
मौजूदा वक्त में यदि विस्फोटक बल्लेबाजों का जिक्र आता है तो रोहित शर्मा व विराट कोहली का नाम जहन में आना लाजमी है। रन मशीन कोहली तीनों फॉर्मेट्स में अपनी बल्लेबाजी का लोहा मनवा रहे हैं और एक के बाद एक बड़े रिकॉर्ड्स अपने नाम करते जा रहे हैं। तो वहीं हिटमैन रोहित सीमित ओवर क्रिकेट के सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाजों में से एक हैं. अब राहुल द्रविड़ ने मांजरेकर से बात करते हुए आगे कहा,
‘‘मैं विराट कोहली और रोहित शर्मा से अपनी तुलना कर ही नहीं सकता। उन्होंने वनडे में नए लेवल छूकर मिसाल कायम की है। ईमानदारी से कहूं तो मैं खुद को टेस्ट प्लेयर के तौर पर ही बेहतर बनाना चाहता था।’’
विश्व क्रिकेट में ‘द वॉल’ के नाम से पहचान बनाने वाले राहुल द्रविड़ ने भारत के लिए कई मैच विनिंग पारियां खेली. अब यदि उनके आंकड़ों पर गौर करें, तो टेस्ट में भारत के लिए सर्वाधिक रन बनाने वाले दूसरे बल्लेबाज हैं. द्रविड़ ने करियर में खेले गए 164 टेस्ट मैचों में 42.51 की स्ट्राइक रेट से 13288 रन बनाए. तो वहीं 244 एकदिवसीय मैचों में 71.24 की स्ट्राइक रेट से 10889 रन अपने नाम किए हैं। राहुल ने एक ही T20I मैच में 147.62 की स्ट्राइक रेट से 31 रन बनाए।
Written By: अखिल गुप्ता