एजबेस्टन टेस्ट में इंग्लैंड के हाथों 7 विकेट से मिली हार के बाद भारत के कप्तान जसप्रीत बुमराह का मानना है कि चौथे दिन उनकी बल्लेबाजी इस मैच का टर्निंग प्वॉइंट रही. चौथे दिन की शुरुआत में भारत 125-3 से अच्छी स्थिति में था और उसके पास 257 रनों की बड़ी बढ़त थी.
हालांकि, वे पहले दिन के शुरुआती सत्र में नियमित अंतराल पर विकेट गंवाते रहे और इससे उनका पतन हुआ. भारत ने पहले सत्र में चार विकेट गंवाए और फिर इंग्लैंड के कप्तान बेन स्टोक्स ने टेलेंडर्स का सफाया कर दिया.
चेतेश्वर पुजारा और ऋषभ पंत जल्दी आउट हो गए और बाकी बल्लेबाज कोई खास योगदान देने में नाकाम रहे. इस प्रकार, भारत दूसरी पारी में 245 रन पर आउट हो गई और वे 377 रनों की बढ़त बना सके. लेकिन इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता है कि भारतीय टीम इस मैच को जीत सकती थी.
दूसरी ओर, इंग्लैंड एक बार फिर चौथी पारी में शानदार बल्लेबाजी प्रदर्शन के साथ आया, क्योंकि ज़ैक क्रॉली और एलेक्स लीज़ ने अपनी टीम को बेहतरीन शुरुआत दी. इसके बाद जो रूट और जॉनी बेयरस्टो की शतकीय पारी ने भारत के मुंह से जीत छीन ली.
इस बीच भारतीय गेंदबाज मैच की आखिरी पारी में पर्याप्त मौके नहीं बना सके. वास्तव में, पिच ने भी उनकी मदद नहीं की, लेकिन जिस तरह से उन्होंने बल्लेबाजी की उसका श्रेय जो रूट और जॉनी बेयरस्टो को जाता है.
जसप्रीत बुमराह को भारत के लिए प्लेयर ऑफ द सीरीज से सम्मानित किया गया क्योंकि उन्होंने पांच मैचों में 22.47 की औसत से 23 विकेट लिए.
बुमराह ने मैच के बाद के प्रेजेंटेशन में कहा, “टेस्ट क्रिकेट की यही खूबी है, भले ही तीन दिन आपके पक्ष में रहे हो. कल हमने बल्ले से कम रन बनाए और यहीं हमने विपक्षी टीम को मैच को हमसे दूर जाने दिया. अगर आप पीछे देखें तो पहले टेस्ट में बारिश नहीं होती तो हम सीरीज वहीं जीत जाते, लेकिन इंग्लैंड ने काफी अच्छा खेल दिखाया.”
उन्होंने कहा, “हमने सीरीज ड्रॉ कराई और दोनों टीमों ने अच्छा खेल दिखाया. पंत ने चांस लिया, उसने जडेजा के साथ काउंटर अटैक कर हमारी मैच में वापसी करवाई. हम गेम में आगे थे, पंत ने चांस लिया और खुद पर भरोसा जताया जिसे देखकर मैं काफी खुश हूं.”
“द्रविड़ हमेशा हमारा मार्गदर्शन करने और हमारा समर्थन करने के लिए मौजूद हैं. हम अपनी गेंदबाजी लाइन में थोड़ा सख्त हो सकते थे और परिवर्तनशील उछाल का इस्तेमाल कर सकते थे. कप्तानी का भविष्य मैं तय नहीं कर सकता हूं. मुझे जिम्मेदारी पसंद है. यह एक अच्छी चुनौती थी, एक नई चुनौती. टीम का नेतृत्व करना सम्मान और शानदार अनुभव था.”
भारत और इंग्लैंड अब तीन मैचों की टी20 सीरीज में एक-दूसरे से भिड़ेंगे.
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